बुधवार, 22 नवंबर 2017

समय : Time Story in Hindi

समय : Time Story in Hindi

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समय की कीमत : Value of Time


कल्पना कीजिए कि आपके पास एक बैंक अकाउंट है (Bank Account) और हर रोज सुबह उस बैंक अकाउंट में 86,400 रूपये जमा हो जाते है, जिसे आप उपयोग में ले सकते है| आप रूपयों को बैंक अकाउंट (Bank Account) से निकाल कर अपनी तिजोरी में जमा करके नहीं रख सकते| इस बैंक अकाउंट में कैरी फोरवर्ड (Carry Forward) का सिस्टम नहीं है यानि कि जिन रूपयों को आप उपयोग में नहीं ले पाते, वह रूपये शाम को वापस ले लिए जाते है और आपका अब उन पर कोई अधिकार नहीं रहता|
यह बैंक अकाउंट कभी भी बंद हो सकता है| हो सकता है कि कल ही यह बैंक अकाउंट (Bank Account) बंद हो जाए या फिर 2 वर्ष बाद या फिर 50 वर्ष बाद| लेकिन इतना तो निश्चित है कि यह बैंक अकाउंट एक दिन जरूर बंद होगा|

ऐसी परिस्थिति में आप क्या करेंगे????
जाहिर है आप पूरे के पूरे 86,400 रूपयों का उपयोग कर लेंगे और इन 86,400 रूपयों का उपयोग अच्छे कार्यों के लिए करेंगे क्योंकि यह बैंक अकाउंट (Bank Account) कभी भी बंद हो सकता है|

समय अनमोल है: Time is Precious 

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क्या आप जानते है कि ऐसा ही एक बैंक अकाउंट हमारे पास होता है जिसका नाम है “जिंदगी (Life)” और इस “जीवन” रुपी बैंक अकाउंट में प्रतिदिन 86,400 सेकंड्स (Seconds) जमा होते है जिनका उपयोग कैसे करना है यह हम पर निर्भर करता है| हम चाहें तो इन 86,400 सेकंड्स का उपयोग बेहतरीन कार्यों के लिए कर सकते है और अगर ऐसा नहीं करते तो यह व्यर्थ हो जाएंगे| यह जीवन रुपी बैंक अकाउंट कभी भी बंद हो सकता है इसलिए देर मत कीजिए आपके जीवन का हर पल अमूल्य है इसलिए समय का सदुपयोग कीजिए|
अगर किसी को भी ऐसा बैंक अकाउंट दे दिया जाए जिसमें रोज 86,400 रूपये जमा हो तो वह व्यक्ति बहुत खुश हो जाएगा और एक रूपया भी व्यर्थ नहीं गवाएंगा | क्या हमारे जीवन के एक सेकंड की कीमत एक रूपये से भी कम है| हम कैसे अपने जीवन की सबसे अनमोल सम्पति को ऐसे ही व्यर्थ गँवा सकते है|
खोया हुआ धन फिर कमाया जा सकता  है, लेकिन खोया हुआ समय वापस नहीं आता| उसके लिए केवल पश्चाताप ही शेष रह जाता है। हर एक दिन को व्यर्थ गंवाना आत्महत्या करने के समान है| बिना समय प्रबंधन के आज तक कोई भी सफल नहीं हुआ|
कबीर दास जी का यह छोटा सा दोहा, जीवन का सबसे बड़ा मंत्र बता देता है-

काल करै सो आज कर, आज करै सो अब।
पल में परलै होयेगी, बहुरी करेगा कब।।


बीते हुए कल को भूल जाइए, उसका आज कोई वजूद नहीं| आज आपका है, आज एक नयी शुरुआत कीजिए|

“जो व्यक्ति अपने समय को नष्ट कर देते है, समय उन्हें नष्ट कर देता है।’’

शुक्रवार, 10 नवंबर 2017

क्रिएटिव “ऑटो अन्ना” की शानदार कहानी – Story of Amazing Auto Driver Annadurai

क्रिएटिव “ऑटो अन्ना” की शानदार कहानी – Story of Amazing Auto Driver Annadurai
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आपने आजतक बहुत से ऐसी ट्रेवल एजेंसीज और टूर गाइड एजेंसीज के बारे में सुन रखा होगा जो अपने ग्राहकों को नए-नए ऑफर देकर और सुविधायें देकर लुभाने की कोशिश करते हैं| पर क्या आपने कभी किसी ऐसे ऑटो ड्राइवर के बारे में सुना है जो अपने ग्राहको के लिए अपने छोटे से ऑटो रिक्शा में कई प्रकार की कस्टमर-फ्रेंडली सुविधायें जैसे अख़बार, मैगज़ीन, टीवी, टेबलेट आदि प्रदान करता है, रिक्शा-भाड़े में कई तरह की छूट देता है और अपने यात्रियों के लिए प्रतियोगितायें भी उपलब्ध कराता है?
अपने आप में अनोखे और इकलौते इस ऑटो ड्राइवर का नाम वैसे तो अन्ना दुरई (Anna Durai) है, पर लोग उन्हें ‘ऑटो अन्ना(Auto Anna)’ के नाम से ज्यादा जानते हैं।उनकी उम्र करीब 30 वर्ष है और वह एक स्कूल ड्रॉप-आउट हैं| वे चेन्नई के थिरुवनमयुर-शौलिंगनलूर मार्ग पर एक शेयर-ऑटो चलाते हैं| अन्ना दुरई, देश के सबसे ज्यादा कस्टमर-फ्रेंडली ऑटो ड्राइवर हैं, जो यात्रियों को विभिन्न प्रकार की सुविधाएँ देते है और यही कारण है कि पिछले कई वर्षों से वह खबरों में बने हुए हैं|

छोटे से छोटे कार्य को भी क्रिएटिव तरीके से किया जाये तो सफलता आपके कदम चूमती है – Inspiring Success Story of Creative Auto Driver Anna Durai

अन्ना, मूलतः थंजावुर जिले के पेरावूरणी से हैं, जो चार साल की उम्र में अपने दो भाइयों और एक बहन के साथ चेन्नई शहर में आ गए और पिछले कई वर्षों से ऑटो चलाने का काम कर रहे हैं। उनके शेयर-ऑटो में एक बार में 6 यात्री सवार हो सकते हैं और अन्ना अपने ऑटो को ज्यादातर चेन्नई के आईटी कॉरिडोर में ही चलाते हैं|
पहले-पहल तो वो भी एक आम ऑटो ड्राइवर की तरह ही काम किया करते थे, परन्तु उनके लिए उनके ग्राहक यानी उनकी सवारियाँ भगवान के सामान थीं| उनके लिए उनकी सवारियों की संतुष्टि से अधिक कुछ भी मायने नहीं रखता|
वह उन लोगों में से नहीं थे जो एक अच्छी सोच तो रखते हैं, पर उसे अमल में लाने का हौसला नहीं रखते| इसलिए एक दिन उनके मन में एक ख्याल आया कि उन्हें अपने ग्राहकों (सवारियों) को अच्छी सर्विस देनें और उनकी संतुष्टि के लिए कुछ अलग करना चाहिए
और तब उन्होंने अपनी ऑटो में 20 अलग-अलग प्रकार के अखबारों और मैगज़ीन को रखना शुरू कर दिया| वह यात्री-सुविधाओं को बढ़ाने में इस हद तक आगे बढ़ गए कि जहाँ वे सिर्फ 15 हजार रूपये कमाया करते, वहीं 8 हजार रूपये तो यात्री-सुविधाओं में ही खर्च कर दिया करते|

ऑटो में वाई-फाई, टीवी और टेबलेट – Amazing Auto

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वे अख़बार और मैगजीन तक ही सिमित नहीं रहे और उन्होंने कुछ पैसे जमा करके अपने ऑटो में वाई-फाई भी लगवाया| उसके बाद अपने उन यात्रियों के लिए उन्होंने 7 हजार रुपए में एक टैबलेट खरीदा, जिनके पास इंटरनेट सर्फ करने के लिए स्मार्टफोन नहीं था| पर क्योंकि उनकी ज्यादातर सवारियाँ आईटी सेक्टर से होती थीं, इसलिए उन्हें लगा की शायद वह टैबलेट उनकी सवारियों के लिए नाकाफी है और फिर उन्होंने अगले कई महीनों तक पैसे इक्कठे किए और एक महँगा टैबलेट खरीदा|
इसके अलावा उनके ऑटो में एक छोटा टीवी सेट भी है, ताकि यात्री, यात्रा करने के साथ साथ अपना मनोरंजन कर सकें| अगर उनके यात्री को अचानक अपने प्रीपेड मोबाइल को रिचार्ज करने की आवश्यकता पड़ जाए तो उन्हें किसी दूकान में जाने की भी जरुरत नहीं पड़ती, क्योंकि अन्ना ने इसका भी इंतजाम अपने ऑटो के अंदर ही कर रखा है| इतना ही नहीं, अगर आप टीवी देखने या इन्टरनेट पर जाने के इच्छुक न हों तो भी आपको अपने सफर में ऊबने की जरुरत नहीं पड़ेगी, क्योंकि अन्ना के ऑटो में हमेशा 40 अलग-अलग पत्रिकायें भी रखी रहती हैं|

शिक्षकों और नर्सों के लिए मुफ्त सेवा – Amazing Auto 

एक स्कूल ड्रॉप-आउट होते हुए भी उनके मन में शिक्षकों के लिए बहुत सम्मान है और यही वजह है कि वह सभी शिक्षकों को मुफ्त सवारी प्रदान करते हैं। यही नहीं, वह उन नर्सों को भी मुफ्त सेवा प्रदान करते हैं जो एचआईवी से पीड़ित रोगियों की सेवा करती हैं|
क्या कोई सोच सकता है कि कभी उसके शहर के स्थानीय ऑटो निःशुल्क सवारी प्रदान करेंगे| पर ऑटो अन्ना ने इसे भी सच कर दिखाया है| वह वर्ष के कई महत्वपूर्ण दिनों में कुछ ख़ास यात्री-वर्ग को निःशुल्क सवारी प्रदान करते हैं, जैसे मदर्स डे पर वह उन औरतों को मुफ्त सवारी प्रदान करते हैं, जिनके साथ उनका बच्चा होता है| इसके अलावा 7 और ऐसे खास दिन हैं जब अन्ना दुरई अपने कुछ ख़ास ग्राहक-वर्ग को छूट देते हैं|

कार्ड स्वैपिंग और कैशबैक – Amazing Auto

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अन्ना की महीने की कमाई 50000 के आस-पास है जिसमें से वे 10000 के आस-पास अपनी ग्राहकों की सुविधाओं के लिए खर्च कर देते है|
उन्होंने उन यात्रियों के बारे में भी सोचा, जिनके पास डेबिट\क्रेडिट कार्ड तो है पर नकद पैसे नहीं| ऐसी हालत में भी एक यात्री अन्ना दुरई की ऑटो में सवारी कर सकता है, क्योंकि अन्ना ने अपने ऑटो में एक कार्ड स्वाइपिंग मशीन का भी इंतजाम कर रखा है|
वह नियमित रूप से एक ग्राहक-संबंध प्रतियोगिता (customer-relationship contest) का भी संचालन करते हैं, जिसमें वह अपने ग्राहकों से पाँच प्रश्न पूछते हैं| एक भाग्यशाली विजेता 1,000 रूपए तक जीत सकता है| इसी प्रकार वह अपने ऑटो के हर यात्री को एक टोकन भी देते हैं| ऐसे 20 टोकन जमा करने पर 250 रूपए, 30 टोकन पर 500 रूपए आदि ग्राहकों को अन्ना द्वारा दिया जाता है| अन्ना दुरई कहते हैं कि
“मैं सोचता था कि क्या मेरे ग्राहक मेरी प्रतियोगिता का एक हिस्सा बनाना भी चाहेंगे या नहीं| पर मैं यह देखकर अचंभित रह गया कि पहले ही महीने में 80 ग्राहकों ने प्रतियोगिता में हिस्सा लिया”

सोशल मीडिया पर हुए पॉपुलर – Amazing Auto

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फेसबुक के एक ग्रुप, “फोटोज दैट शूक द वर्ल्ड”, द्वारा उनका एक चित्र पोस्ट करने के बाद ऑटो अन्ना की यह प्रेरणात्मक और दिल को छू जाने वाली कहानी 2012-13 में चारों और फ़ैल गई| उसके बाद से तो जैसे वह एक ‘चेन्नई आइकॉन’ बन गए| इस घटना के कुछ ही दिनों बाद फेसबुक पर उनके 10,000 से भी ज्यादा फॉलोवर्स (followers) बन गए और 20,000 से भी ज्यादा लाइक्स (likes) मिलें। इसके बाद उन्होंने टेड टॉक(Ted Talks) इंटरव्यू भी दिए और कई जानी-मानी फ़िल्मी हस्तियों ने भी उनसे मुलाक़ात की|
इसके अतिरिक्त वोडाफोन और रॉयल एनफील्ड जैसी कंपनियों के कार्यालयों में अन्ना ने “कस्टमर सर्विस” पर 40 से भी ज्यादा भाषण दिए हैं। एक वर्ष तो फ्रेंडशिप डे के दिन उनकी तारीफ़ करने और उनके बारे में जानने के लिए उनको 35 से भी ज्यादा देशों से टेलीफोन कॉल्स आए और अन्ना दुरई ने सैंकड़ों लोगों से बातें की और रात भर वे सो तक नहीं पाए| उन्हीं के शब्दों में,
“मैं सारी रात बस कॉल्स के जवाब ही देता रहा| जब मैं एक कॉल पर होता, तभी कोई और कॉल आने लगता| यह एक अद्भुत पल था, जब सैंकड़ों लोगो ने अपना वक्त निकालकर और पैसे खर्च कर बस मुझसे बात करना चाहा| मैं सिर्फ तमिल भाषा जानता हूँ और ज्यादातर लोगो की बातें तो मैं समझ तक नहीं पाया| मैं भले ही उनकी भाषा को ठीक-ठीक समझ न पाता, पर मैं इतना तो समझ ही जाता की वो मुझसे क्या कहना चाहते थे| जवाब में मैं बस उन्हें धन्यवाद कहता और उन्हें चेन्नई आकर मुझसे मिलने का आमंत्रण देता| अंत में वे सभी मुझे फ्रेंडशिप डे की बधाई देते|
और तो और, उनके जीवन पर कई डाक्यूमेंट्री भी बनाई गई है| जब ऑटो अन्ना को यह आभास हुआ की ज्यादा-से-ज्यादा लोग उनके बारे में जानना चाहते हैं, तो उन्होंने ‘अमेजिंगऑटो डॉट इन (Amazingauto.in)’ के नाम से खुद की एक वेबसाइट बनाई| उसी वेबसाइट पर उन्होंने एक ऐसे ट्रस्ट की भी घोषणा की जो वृद्धों और अनाथों को सहारा दे सके| इसके अलावा अन्ना ने पहले से ही एक बच्चे की शिक्षा की जिम्मेदारी उठा रखी है और अपने तीन ग्राहकों को भी उन्होंने ऐसा ही करने की प्रेरणा दी है|
अन्ना दुरई आज न केवल एक सेलिब्रिटी “ऑटो ड्राईवर” बल्कि वे एक कॉर्पोरेट कार्योलयों में “कस्टमर सर्विस” विषय के जाने माने वक्ता भी है| अन्ना अब अपनी एक एप्प लांच करने की भी सोच रहे है ताकि ग्राहकों को अन्ना के ऑटो की लोकेशन पता चल सके|
किसी भी ऑटो ड्राईवर के लिए इतना सब सोचना भी मुश्किल होता है, लेकिन अन्ना दुरई ने यह साबित कर दिया है कि अगर छोटे-छोटे काम को भी अच्छे इरादों और क्रिएटिव तरीके से किया जाए तो सफलता आपके कदम चूमती है| 

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